केंद्र सरकार ने कुमाऊं मंडल की चार नदियों गौला, शारदा, दाबका एवं कोसी की वन स्वीकृतियां आगामी पांच वर्षों के लिए नवीनीकृत कर दी हंै। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने हाल ही में केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव से मुलाकात कर इन वन स्वीकृतियों को आगे बढ़ाने का अनुरोध किया था।
प्रधानमंत्री सहित मंत्री भूपेंद्र यादव का आभार प्रकट किया:
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्वीकृति देने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु मंत्री भूपेंद्र यादव का आभार प्रकट किया है।
केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव से नई दिल्ली में की थी मुलाकात:
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गत 18 फरवरी को केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव से नई दिल्ली में मुलाकात की थी। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा था कि पर्वतीय नदियों में मानसून में जमा उप खनिज (आरबीएम) को बाढ़ नियंत्रण एवं नदी किनारों पर स्थित वन एवं कृषि भूमि की सुरक्षा के साथ ही आपदा प्रबंधन के निवाराणात्मक उद्देश्यों को पूरा करने के लिए हटाना आवश्यक है।
28 फरवरी को समाप्त हो रही हैं वन स्वीकृति:
उप खनिज को हटाने की आवश्यकता आमजन, विशेष रूप से किसानों के नदी तटीय अधिकारों का संरक्षण करने के लिए भी है। अभी मिली वन स्वीकृति 28 फरवरी को समाप्त हो रही हैं। ये स्वीकृतियां नवीनीकृत न होने के कारण नदियों से उपखनिज हटाने में काफी परेशानी होगी।
वन स्वीकृतियों को पांच वर्ष के लिए नवीनीकृत कर दिया:
गुरुवार को केंद्र ने मुख्यमंत्री के इस अनुरोध के बाद वन स्वीकृतियों को पांच वर्ष के लिए नवीनीकृत कर दिया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इन नदियों से आरबीएम की उपलब्धता, सिविल निर्माण कार्यों, धार्मिक व सामरिक रूप से आवश्यक सड़क और रेल नेटवर्क के विस्तार जैसे महत्वपूर्ण कार्यों के लिए भी जरूरी है। इससे लगभग 50 हजार स्थानीय व प्रवासी श्रमिकों को भी रोजगार उपलब्ध होगा।