गैंगस्टर-आतंकी सांठगांठ मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने रविवार को प्रतिबंधित संगठन बब्बर खालसा इंटरनेशनल (BKI) और खालिस्तान टाइगर फोर्स (KTF) से जुड़े तीन कुख्यात ‘सूचीबद्ध आतंकियों’ सहित नौ के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया है।
इनमें विदेश में बैठे बीकेआइ के हरविंदर सिंह संधू उर्फ रिंदा, केटीएफ के अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डल्ला, बीकेआइ के लखबीर सिंह संधू, हरजोत सिंह, कश्मीर सिंह, तरसेम सिंह, गुरजंट सिंह, दीपक रंगा लक्की खोखर उर्फ डेनिस शामिल हैं।
हवाला के माध्यम से भेजा जा रहा था फंड:
आरोपित सीमा पार से हथियारों और नशीली दवाओं की तस्करी, आतंकी गतिविधियों व जबरन वसूली को अंजाम देते हैं। भारत में आतंक फैलाने के लिए वे अपने संगठनों में युवाओं की भर्ती कर रहे हैं। एनआइए की जांच में आरोपितों द्वारा बीकेआइ और केटीएफ के लिए धन जुटाने की एक जटिल व्यवस्था का भी पता चला है। फंड को भारत स्थित सहयोगियों को हवाला के माध्यम से भेजा जा रहा था।
मनी ट्रांसफर सर्विस स्कीम (एमटीएसएस) या अन्य साधनों का उपयोग इस तरह से किया जा रहा था कि धन भेजने वाले या प्राप्तकर्ता की पहचान पूरी तरह से गुप्त रहे। एनआइए बीकेआइ और केटीएफ से जुड़े 16 अन्य फरार और गिरफ्तार आरोपितों के लिंक की भी जांच कर रही है।
कौन है हरविंदर सिंह संधू उर्फ रिंदा?
गैंगस्टर से आतंकी बना हरविंदर सिंह संधू उर्फ रिंदा अब बीकेआइ का प्रमुख सदस्य और खालिस्तानी ऑपरेटिव है। 2018-19 में वह अवैध रूप से पाकिस्तान भाग गया था। वर्तमान में आइएसआइ के संरक्षण में वहां रह रहा है और भारत के खिलाफ आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने में शामिल है।
रिंदा पाकिस्तान से हथियार, गोला-बारूद, विस्फोटक और नशीले पदार्थ की तस्करी, बीकेआइ में सदस्यों की भर्ती, हत्या, पंजाब और महाराष्ट्र में जबरन वसूली के माध्यम से धन जुटाने आदि जैसे विभिन्न अपराधों में शामिल है। वह मई, 2022 में पंजाब पुलिस इंटेलिजेंस मुख्यालय पर आरपीजी हमले सहित कई आतंकी गतिविधियों में शामिल रहा है। केंद्र सरकार ने उसे इसी वर्ष आतंकी घोषित किया था।
अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डल्ला:
कुख्यात गैंगस्टर अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डल्ला पंजाब के मोगा का रहने वाला है। कनाडा में डल्ला प्रतिबंधित आतंकी संगठन केटीएफ के प्रमुख हरदीप सिंह निज्जर के संपर्क में आया। दोनों केटीएफ के लिए धन जुटाने और पंजाब में व्यापारियों व विशेष समुदायों के नेताओं की लक्षित हत्या को अंजाम देने के लिए युवाओं की भर्ती और आतंकी गिरोह बनाने में लगे हुए थे।
लखबीर सिंह संधू के खिलाफ भी चार्जशीट दायर:
एनआइए ने तरनतारन निवासी लखबीर सिंह संधू के खिलाफ भी आरोप पत्र दायर किया है। लखबीर भी 2017 में कनाडा गया था और वहीं से अपनी गतिविधियां जारी रखीं। इस बीच, वह रिंदा के संपर्क में आया और बीकेआइ के लिए काम करना शुरू कर दिया। वह कई आतंकी घटनाओं में मुख्य आरोपित रहा है, जिसमें मई 2022 में पंजाब पुलिस इंटेलिजेंस मुख्यालय पर आरपीजी हमला और दिसंबर, 2022 में तरनतारन के सरहाली पुलिस स्टेशन पर आरपीजी हमला शामिल है।
रिंदा अगस्त 2022 में पंजाब पुलिस एसआइ दिलबाग सिंह की हत्या की साजिश का भी मास्टरमाइंड है। आरोप पत्र में शामिल हरजोत सिंह व कश्मीर सिंह नाभा जेल ब्रेक मामले में आरोपित हैं और अभी फरार हैं। एनआइए के आरोप पत्र में शामिल अन्य आरोपित दीपक रंगा और लक्की खोखर उर्फ डेनिस हैं, जिन्हें भारत में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए विदेशी स्थित आकाओं द्वारा भर्ती किया गया था। मई, 2022 में मोहाली स्थित पंजाब पुलिस इंटेलिजेंस मुख्यालय पर आरपीजी हमले को अंजाम देने के लिए दीपक रंगा को रिंदा और लखबीर ने तैयार किया था।