
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भारी बरसात के अलर्ट के मद्देनजर राज्य, जिला और तहसील स्तर पर कंट्रोल रूम 24 घंटे संचालित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि जिलों से हर दो घंटे में राज्य स्तरीय कंट्रोल रूम में रिपोर्ट भेजी जाए। कोई घटना होने पर तुरंत सूचना दी जाए। उन्होंने रिस्पांस टाइम कम से कम रखने को भी निर्देशित किया।
रविवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सचिवालय में आपदा प्रबंधन की तैयारियों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि प्रदेश में इस समय बड़ी संख्या में तीर्थ यात्री और पर्यटक आए हुए हैं। जरूरी होने पर उन्हें सुरक्षित स्थानों पर ठहराते हुए उनके रहने और भोजन आदि की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। इसमें किसी तरह की लापरवाही न हो, ताकि पर्यटक और तीर्थयात्री यहां से अच्छा संदेश लेकर जाएं। उन्होंने कहा कि नदियों के जलस्तर पर लगातार नजर रखी जाए। आइटीबीपी, सीडब्लूसी, बीआरओ, एसडीआरएफ, राजस्व व पुलिस आपसी समन्वय से काम करें।
ट्रेंकिंग करने आए व्यक्तियों के बारे में पूरी सूचना रखी जाए और उनसे संपर्क साधा जाए। भूस्खलन क्षेत्रों का विशेष ध्यान रखा जाए। रास्ते बंद होने पर तुरंत उन्हें खोलने की व्यवस्था हो। उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि भूस्खलन आदि की स्थिति में लोग फंसे नहीं। वे सुरक्षित स्थानों पर ही ठहरें। आपदा और बचाव राहत उपकरण सुचारू स्थिति में हों। मुख्यमंत्री ने कहा कि भारी बारिश के अलर्ट को देखते हुए पूरी सावधानी बरती जाए। यात्रियों व पर्यटकों से सावधानी रखने की अपील की जाए, मगर किसी तरह घबराहट न फैलाई जाए। जिलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक स्वयं पूरी स्थिति पर नजर रखें। बैठक में बताया गया कि अभी सभी स्थानों पर स्थिति सामान्य है और एहतियातन यात्रियों को सुरक्षित स्थानों पर रुकवाया गया है।
बैठक में आपदा प्रबंधन मंत्री डा धन सिंह रावत, विधायक संजय गुप्ता, मुख्य सचिव डा एसएस संधु, प्रमुख सचिव आरके सुधांशु, सचिव एसए मुरुगेशन, आइजी एसडीआरएफ पुष्पक ज्योति व एसीइओ आपदा प्रबंधन रिद्धिम अग्रवाल समेत सभी मंडलायुक्त व जिलाधिकारी वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े हुए थे।
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